यूनिफाइड पेंशन स्कीम को केंद्रीय कर्मचारी संगठनों ने सिरे से नकारा

मूकनायक मीडिया ब्यूरो | 25 अगस्त 2024 |  जयपुरकेंद्र सरकार न्यू पेंशन स्कीम (NPS) की जगह अब केंद्रीय कर्मचारियों के लिए यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) लेकर आई है। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शनिवार, 24 अगस्त को इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कैबिनेट बैठक में इसे मंजूरी दी गई। UPS एक अप्रैल 2025 से लागू होगी।

यूनिफाइड पेंशन स्कीम को केंद्रीय कर्मचारी संगठनों ने सिरे से नकारा

UPS से 23 लाख केंद्रीय कर्मचारियों को फायदा होगा। कर्मचारियों के पास UPS या NPS में से कोई भी पेंशन स्कीम चुनने का ऑप्शन रहेगा। राज्य सरकार चाहें तो वे भी इसे अपना सकती हैं। अगर राज्य के कर्मचारी शामिल होते हैं, तो करीब 90 लाख कर्मचारियों को इससे फायदा होगा।

यूनिफाइड पेंशन स्कीम को केंद्रीय कर्मचारी संगठनों ने सिरे से नकारा

न्यू पेंशन स्कीम से कैसे अलग है UPS

इस योजना के न्यू पेंशन स्कीम और ओल्ड पेंशन स्कीम (OPS) से किस तरह अलग होने के सवाल पर केंद्रीय सचिवालय में OSD टीवी सोमनाथन ने जवाब दिया कि UPS पूरी तरह कॉन्ट्रिब्यूटरी फंडेड स्कीम है। (मतलब इसमें भी कर्मचारियों को NPS की तरह बेसिक सैलरी+DA का 10% कॉन्ट्रिब्यूट करना पड़ेगा।)

जबकि ओल्ड पेंशन स्कीम अनफंडेड कॉन्ट्रिब्यूश्नरी स्कीम थी। (इसमें कर्मचारियों को किसी भी तरह का कॉन्ट्रीब्यूशन नहीं करना होता था।) लेकिन NPS की तरह हमने इसे बाजार के भरोसे न छोड़कर फिक्स पेंशन की एश्योरटी दी है। UPS में OPS और NPS दोनों के लाभ शामिल हैं।

NPS में कर्मचारी को अपनी बेसिक सैलरी+DA का 10% हिस्सा कॉन्ट्रिब्यूट करना होता है और सरकार 14% देती है। सरकार अब इसे बढ़ाकर 18.5 % कॉन्ट्रिब्यूट करेगी। कर्मचारी के 10% हिस्से में कोई बदलाव नहीं होगा।

सोमनाथन ने बताया कि NPS के तहत 2004 से अब तक रिटायर हो चुके और अब से मार्च, 2025 तक रिटायर होने वाले कर्मचारियों को भी इसका लाभ मिलेगा। जो पैसा उन्हें पहले मिल चुका है या वे फंड से निकाल चुके हैं, उससे एडजस्ट करने के बाद भुगतान किया जाएगा। सरकार की तरफ से कॉन्ट्रिब्यूशन 14% से 18.5% बढ़ाए जाने पर पहले साल 6250 करोड़ रुपए का अतिरिक्त खर्च आएगा। ये खर्च साल दर साल बढ़ता रहेगा।

न्यूनतम 10 हजार रुपए पेंशन, NPS चुनने वाले UPS में आ सकेंगे, DA नहीं DR मिलेगा

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नई स्कीम किस तरह फायदेमंद? बेसिक सैलरी की 50% राशि पेंशन के रूप में मिलेगी। सरकार ने इसकी गारंटी दी है।
गणना का फॉर्मूला क्या होगा? जिस दिन रिटायर होंगे, उससे पहले के 12 महीने की बेसिक सैलरी का ऐवरेज निकाला जाएगा। उसकी 50% राशि पेंशन के रूप में मिलेगी।
50% राशि किस शर्त पर मिलेगी? नौकरी को कम से कम 25 साल होने चाहिए।
मेरी नौकरी कम साल की है? कम से कम 10 साल की नौकरी के बाद रिटायर हुए तो 10 हजार रुपए पेंशन मिलेगी।
इसका बोझ कर्मचारी पर पड़ेगा? कर्मचारियों का योगदान 10% बना रहेगा। सरकार अपना योगदान 14% से बढ़ाकर 18.5% करेगी। हर 3 साल में समीक्षा होगी कि क्या इसे बढ़ाया जाए।
फैमिली पेंशन की सुविधा क्या है? कर्मचारी की मौत पर फैमिली पेंशन मिलेगी। कर्मचारी की मौत के समय उसकी जो पेंशन बन रही होगी, (मौत के बजाय यदि वह रिटायर हुआ होता।) उस पेंशन का 60% फैमिली पेंशन मिलेगी।
क्या रेट्रोस्पेक्टिव लागू होगी? UPS का फायदा वे भी ले सकेंगे, जो 2004 के बाद NPS के तहत रिटायर हुए हैं। सरकार ब्याज के साथ एरियर देगी। ब्याज PPF दर के बराबर मिलेगा।
NPS वाले UPS चुन सकेंगे? हां, वे भी UPS चुन सकते हैं।
UPS का और कोई फायदा? महंगाई सूचकांक को भी शामिल किया गया है। जिस हिसाब से महंगाई बढ़ेगी, महंगाई राहत (DR) भी बढ़ती रहेगी।
एकमुश्त लाभ क्या है? ग्रेच्युटी के अलावा कर्मचारी को हर 6 महीने की नौकरी पूरी करने पर, इन महीनों की उसकी सैलरी और DA मिलाकर उसका 10% पैसा, रिटायरमेंट के बाद लम-सम अमाउंट के तौर पर मिलेगा।
क्या राज्य सरकारें लागू करेंगी? राज्य सरकारें चाहे तो अपने कर्मचारियों के लिए UPS लागू कर सकती हैं। स्पष्ट है कि राज्य कर्मचारी राज्य सरकारों पर दबाव बनाएंगे कि वे भी इसे लागू करें।

​​​​​ 25 साल की सेवा और 50 हजार रुपए के मूल वेतन पर गणना 

OPS

पेंशन: मूल वेतन का 50% यानी 25,000 रुपए+DAफैमिली पेंशन: बेसिक सैलरी का 30% यानी 15,000 रुपए+DAन्यूनतम पेंशन: 9,000 रुपए+DA

UPS

पेंशन: बेसिक सैलरी का 50% यानी 25,000 रुपए +DRफैमिली पेंशन: पेंशन का 60% यानी 15,000 रु.+DR
न्यूनतम पेंशन: 10,000 रुपए+DR

UPS में ग्रैच्युटी में नुकसान 25 साल की नौकरी और 50 हजार रुपए की बेसिक सैलरी पर पुरानी पेंशन स्कीम में ग्रैच्युटी 12,37,500 रुपए बनेगी, जबकि UPS में यह 9,37,500 रुपए होगी।
UPS बेहतर पेंशन योजना का खाका तैयार करने वाली कमेटी के चेयरमैन, केंद्रीय सचिवालय में OSD टीवी सोमनाथन का कहना है कि NPS की तुलना में UPS 99% तक बेहतर है। इसमें निश्चित पेंशन का विकल्प है

 

बैठक में पीएम भी शामिल हुए

कैबिनेट की मीटिंग से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केंद्रीय कर्मचारियों के नेताओं के साथ अपने आवास पर बैठक की। कार्मिक मंत्रालय ने इसके संबंध में 21 अगस्त को एक नोटिस जारी किया गया था। ये घोषणा ऐसे समय पर हुई है, जब 2 राज्यों जम्मू-कश्मीर और हरियाणा में विधानसभा चुनाव होने हैं।

पिछले 10 साल में यह पहली बैठक रही, जिसमें प्रधानमंत्री और केंद्रीय कर्मचारियों की नेशनल काउंसिल यानी जॉइंट कंसल्टेटिव मशीनरी (JCM) के सदस्य शामिल हुए। बैठक में ओल्ड पेंशन स्कीम (OPS), न्यू पेंशन स्कीम (NPS) और 8वें वेतन आयोग को लेकर चर्चा हुई।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी बजट पेश करते हुए NPS में सुधार की बात कही थी। वहीं, संसद में पूछे गए एक सवाल के जवाब में वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने जवाब दिया था कि सरकार OPS बहाली पर कोई विचार नहीं कर रही है।

AIDEF ने किया बैठक का बहिष्कार

रेलवे के बाद केंद्रीय कर्मचारियों के सबसे बड़े संगठन ऑल इंडिया डिफेंस एम्प्लॉई फेडरेशन (AIDEF) ने प्रधानमंत्री की बैठक का बहिष्कार किया। AIDEF के महासचिव सी श्रीकुमार ने कहा था कि संगठन PM मोदी के साथ होने वाली बैठक में हिस्सा नहीं लेगा।

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इसकी वजह ये है कि बैठक में OPS बहाली नहीं बल्कि NPS में सुधार को लेकर चर्चा होगी। संगठन पहले ही कह चुके हैं कि कर्मचारियों को OPS ही चाहिए। बता दें कि AIDEF ने 15 जुलाई को वित्त मंत्रालय की बैठक का भी बहिष्कार किया था।

1 मई को अनिश्चितकालीन हड़ताल की थी योजना

कर्मचारी संगठनों ने OPS बहाली को लेकर 29 फरवरी 2024 को प्रधानमंत्री मोदी को पत्र लिखा था। पत्र में मांग की गई थी कि सरकार NPS बंद करे और गारंटीकृत ओल्ड पेंशन स्कीम लागू करे। मांग पूरी होने पर संगठनों ने 1 मई 2024 से अनिश्चितकालीन हड़ताल की बात कही थी। बाद में सरकार की ओर से चर्चा का आश्वासन मिलने के बाद हड़ताल टाल दी गई थी।

NPS में सुधार​ के लिए बनी थी​​​​​​ सोमनाथन कमेटी

टीवी सोमनाथन को हाल ही में कैबिनेट सचिव नियुक्त किया गया है। अप्रैल 2024 में सरकार ने उस समय के वित्त सचिव टीवी सोमनाथन (हाल ही में कैबिनेट सचिव नियुक्त हुए हैं) की अध्यक्षता में NPS में सुधार के लिए एक कमेटी बनाई थी।

कमेटी ने सुधार के लिए दुनियाभर के देशों की पेंशन स्कीमों सहित आंध्र प्रदेश सरकार की तरफ से किए गए सुधारों की भी स्टडी की है। कमेटी की सिफारिशों के आधार पर ही सरकार यूनिफाइड पेंशन स्कीम लेकर आई है।

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बीते मंगलवार यानी 14 जनवरी को पुलिस विभाग ने 27 सहायक उपनिरीक्षक और 64 हेड कॉन्स्टेबल के ट्रांसफर की सूची जारी की थी। अब बुधवार (15 जनवरी) को भारी संख्या में पुलिस इंस्पेक्टर के तबादले की सूची जारी की गई है।

नाम वर्तमान पद नवीन पद
महेश शर्मा बनीपार्क थाना बस्सी थाना
श्रीराम मीणा नवीन पदस्थापन तुंगा थाना
धर्मेंन्द्र शर्मा नवीन पदस्थापन एसएमएस थाना
आशुतोष (एसआई) अपराध शाखा कमिश्नरेट गांधी नगर थाना
महावीर यादव पुलिस लाइन करणी विहार थाना
मनीष शर्मा दौलतपुरा सेज थाना
भरतलाल मीणा जिला विशेष शाखा बिंदायका थाना
श्याम सुंदर एसआई अपराध शाखा कमिश्नरेट सिंधी कैम्प थाना
वीरेन्द्र कुरील नवीन पदस्थापन बनीपार्क थाना
लाखन सिंह नवीन पदस्थापन करधनी थाना
कविता शर्मा महेश नगर कालवाड़ थाना
सवाई सिंह नवीन पदस्थापन मुरलीपुरा थाना
नंदलाल जिला विशेष शाखा दौलपुरा थाना
मनोहर लाल अपराध सहायक जयपुर चाकसू थाना
हवा सिंह यादव नवीन पदस्थापन शिवदासपुरा थाना
उदय सिंह शेखावत नवीन पदस्थापन कोटखावदा थाना
इंदु शर्मा सेज महिला थाना दक्षिण
कैलाश चंद बिश्नोई भट्टा बस्ती अशोक नगर थाना
संतरा मीणा नवीन पदस्थापन ज्योति नगर थाना
बनवारी लाल नवीन पदस्थापन विद्यायकपुरी थाना
गुंजन वर्मा नवीन पदस्थापन महेश नगर थाना
मुकेश मीणा नवीन पदस्थापन भट्टा बस्ती थाना
रतन सिंह एसआई कालवाड़ नाहरगढ़ थाना
एकता राज नवीन पदस्थापन महिला थाना उत्तर
राजेश गौतम नवीन पदस्थापन ब्रह्मपुरी थाना
मंजु कुमारी मानसरोवर पर्यटक थाना
पूनम चौधरी विद्यायकपुरी थाना मेट्रो थाना
माधो सिंह अपराध शाका कमिश्नरेट दुर्घटना ईकाई पश्चिम
नवरतन धौलिया नवीन पदस्थापन टीआई उत्तर
गौतम डोटासरा नाहरगढ़ टीआई प्रथम दक्षिण
राजीव यदुवंशी बस्सी थाना टीआई ईस्ट
रमेश पारीक ज्योत नगर टीआई ईस्ट तृतीय
दिलीप कुमार सोनी पुलिस लाइन सड़क दुर्घटना इकाई उत्तर
मनोज बेरवाल नवीन पदस्थापन सड़क दुर्घटना इकाई दक्षिण
उमेश बेनीवाल अशोक नगर सड़क दुर्घटना इकाई पूर्व
जयदेव सिंह दुर्घटना थाना पश्चिम पुलिस लाइन
लक्ष्मी नारायण तुंगा थाना पुलिस लाइन
राज कुमार मीणा गांधी नगर थाना पुलिस लाइन
अब्दुल वहीद कोटखावदा पुलिस लाइन
मंजुला मीणा महिला थाना उत्तर पुलिस लाइन

कमिश्नर की ओर से जारी की गई लिस्ट में 25 सीआई और चार दुर्घटना अनुसंधान इकाइयों के प्रभारी बदले हैं। सीपी ने गांधी नगर,नाहरगढ़ और सिंधी कैम्प जैसे सबसे व्ययस्तम थानों में तीन एसआई को लगाया हैं।

इसमें रतसिंह एसआई को नाहरगढ़, आशुतोष एसआई को गांधी नगर और श्याम सुंदर एसआई को सिंधी कैम्प थाने की जिम्मेदारी दी गई हैं। आज इन सभी सीआई और एसआई को ज्यॉइनिंग करने के भी आदेश दिए गए हैं।

राजस्थान पुलिस महकमें में गुरुवार को बड़ा फेरबदल हुआ था

राजस्थान पुलिस महक में में गुरुवार को बड़ा फेरबदल हुआ है। मंगलवार को 179 पुलिस उपनिरक्षकों की तबादला सूची जारी की गई है। इन इंस्पेक्टर्स को एक रेंज से दूसरी रेंज में ट्रांसफर किया है। सबसे ज़्यादा तबादले जयपुर रेंज से हुए हैं, जहां 50 से ज़्यादा इंस्पेक्टर्स के तबादले हुए हैं। यह सूची अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक सचिन मित्तल ने जारी की है।

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पुलिस मुख्यालय की ओर से 45 इंस्पेक्टर के ट्रांसफर की सूची जारी की गई है। इसके साथ ही सूची में 12 उन पुलिस इंस्पेक्टर के नाम शामिल किये गए हैं। जिनके ट्रांसफर को रद्द कर दिया गया है। बता दें, इससे पहले 8 जनवरी को प्रदेश में 179 पुलिस इंस्पेक्टर का तबादला किया गया था।

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8वें वेतन आयोग के बाद सबकी होगी बल्ले बल्ले, इतनी बढ़ेगी सबकी सैलरी

मूकनायक मीडिया ब्यूरो | 18 जनवरी 2025 | जयपुर : कर्मचारियों के लंबे इंतजार को खत्म करते हुए मोदी सरकार ने 8वें वेतन आयोग को हरी झंडी दे दी है। यह खबर तमाम अटकलों पर विराम लगाती है और सरकारी कर्मचारियों के लिए एक बड़ी राहत लेकर आयी है। 2026 में, सरकारी कर्मचारियों के वेतन में भारी वृद्धि होने की उम्मीद है।

8वें वेतन आयोग के बाद सबकी होगी बल्ले बल्ले, इतनी बढ़ेगी सबकी सैलरी

हालांकि, अभी तक वेतन आयोग का गठन नहीं किया गया है और सरकार ने इस बारे में कोई विस्तृत जानकारी नहीं दी है, लेकिन यह तय है कि जल्द ही आयोग के सदस्यों की नियुक्ति की जायेगी। इसके बाद, आयोग अपनी रिसर्च के आधार पर वेतन और पेंशन बढ़ाने के प्रस्ताव सरकार को सौंपेगा।

8वें वेतन आयोग के बाद सबकी होगी बल्ले बल्ले, इतनी बढ़ेगी सबकी सैलरी

इस खबर से सभी सरकारी कर्मचारी खुश हैं, लेकिन एक सवाल जो हर किसी के मन में है, वह यह है कि 8वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद उनकी बेसिक सैलरी में कितनी वृद्धि होगी? इस बारे में अभी निश्चित रूप से कुछ नहीं कहा जा सकता है।

लेकिन मीडिया रिपोर्ट्स और 7वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद बेसिक सैलरी में हुई वृद्धि के आधार पर यह अनुमान लगाया जा सकता है कि 8वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद चपरासी से लेकर आईएएस अधिकारियों और मुख्य सचिवों तक सभी के बुनियादी वेतन में महत्वपूर्ण वृद्धि होगी।

वेतन मैट्रिक्स क्या कहता है?

वेतन मैट्रिक्स को देखें तो, 7वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद, लेवल-1 (जिसमें चपरासी और सफाई कर्मचारी शामिल हैं) का बेसिक वेतन 18,000 रुपये हो गया था। यह अनुमान है कि 8वें वेतन आयोग के लगने के बाद यह 21,300 रुपये हो जायेगा। इसी तरह, लेवल-2 के कर्मचारियों का बेसिक वेतन 19,900 रुपये से बढ़कर 23,880 रुपये हो सकता है।

वहीं लेवल-3 के कर्मचारियों का बुनियादी वेतन 21,700 रुपये से बढ़कर 26,040 रुपये तक पहुंच सकता है। लेवल-4 के कर्मचारियों का मूल वेतन 25,500 रुपये से बढ़कर 30,600 रुपये होने की उम्मीद है, जबकि लेवल-5 के कर्मचारियों का बेसिक वेतन 29,200 रुपये से बढ़कर 35,040 रुपये हो सकता है। लेवल 1 से 5 तक के कर्मचारियों का ग्रेड पे 1,800 रुपये से 2,800 रुपये के बीच हो सकता है।

लेवल 6 से 9 तक कितनी वृद्धि?

वेतन मैट्रिक्स के अनुसार, लेवल 6 से 9 तक के कर्मचारियों का ग्रेड पे 4,200 रुपये से 5,400 रुपये के बीच होता ह। इस श्रेणी में प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षक, ग्राम विकास अधिकारी आदि कर्मचारी आते हैं। लेवल-6 के कर्मचारियों के बेसिक वेतन में 35,400 रुपये से 42,480 रुपये तक बढ़ने का अनुमान है।

जबकि लेवल-7 के कर्मचारियों के बेसिक वेतन में 44,900 रुपये से 53,880 रुपये तक बढ़ने का अनुमान है। इसी तरह, लेवल-8 के कर्मचारियों का बेसिक वेतन 47,600 रुपये से बढ़कर 57,120 रुपये हो सकता है, और लेवल-9 के कर्मचारियों को 53,100 रुपये से 63,720 रुपये तक वृद्धि का लाभ मिल हो सकता है।

लेवल 10 से 12 तक कितना होगा फायदा

लेवल 10 से 12 तक के कर्मचारियों का ग्रेड पे 5,400 रुपये से 7,600 रुपये के बीच होता है। 8वां वेतन आयोग लागू होने के बाद, इन कर्मचारियों की बेसिक सैलरी में अच्छी खासी वृद्धि हो सकती है। लेवल 10 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 56,100 रुपये से बढ़कर 67,320 रुपये हो सकता है।

इसी तरह, लेवल 11 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 67,700 रुपये से बढ़कर 81,240 रुपये हो जाएगी, और लेवल 12 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 78,800 रुपये से बढ़कर 94,560 रुपये हो सकता है।

लेवल 13 और 14 तक कितनी वृद्धि?

वेतन मैट्रिक्स के अनुसार, लेवल 13 और 14 के कर्मचारी 8,700 रुपये से 10,000 रुपये के ग्रेड पे में आते हैं। 8वां वेतन आयोग लागू होने के बाद लेवल 13 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 1,23,100 रुपये से बढ़कर 1,47,720 रुपये हो सकती है जबकि लेवल 14 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 1,44,200 रुपये से बढ़कर 1,73,040 रुपये हो सकता है।

लेवल 15 से 18 तक कितनी वृद्धि?

लेवल 15 से 18 के बीच के कर्मचारी वरिष्ठ अधिकारी होते हैं, जिनमें आईएएस अधिकारी, सचिव और मुख्य सचिव शामिल हैं। आठवें वेतन आयोग के लागू होने के बाद, इन अधिकारियों के वेतन में भी अच्छी खासी वृद्धि होगी। लेवल 15 के कर्मचारियों का मूल वेतन 1,82,200 रुपये से बढ़कर 2,18,400 रुपये हो हो सकता है।

लेवल 16 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 2,05,400 रुपये से बढ़कर 2,46,480 रुपये हो जायेगी। लेवल 17 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 2,25,000 रुपये से बढ़कर 2,70,000 रुपये हो हो सकती है, और लेवल 18 के कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 2,50,000 रुपये से बढ़कर 3,00,000 रुपये हो सकती है।

बेसिक के अलावा अन्य भत्ते

यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि यहां केवल बेसिक सैलरी में होने वाली वृद्धि के बारे में बताया गया है। कर्मचारियों को मिलने वाले कुल वेतन में बेसिक के अलावा महंगाई भत्ता (Dearness Allowance – DA) और अन्य भत्ते भी शामिल होते है। इन सभी भत्तों को मिलाकर ही कर्मचारी का कुल वेतन निर्धारित किया जाता है। इसका मतलब है कि कर्मचारी के हाथ में आने वाली सैलरी बेसिक सैलरी से काफी ज्यादा हो सकती है।

8वें वेतन आयोग (पे-कमीशन) में संभावित सैलरी कितनी होगी?

1000 रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 920 रुपए मिल सकते हैं । 5000 रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 4600 रुपए बच सकते हैं। 10,000 रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 920 रुपए मिल सकते हैं। 20,000 रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 1840 रुपए मिल सकते हैं। 50,000 रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 4600 रुपए आ सकते हैं। 01 लाख रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 9200 रुपए मिल सकते हैं।

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2 लाख रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 18,400 रुपए हो सकते हैं। 5 लाख रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 46,000 रुपए मिल सकते हैं। 10 लाख रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 92,000 रुपए हो सकते हैं। 20 लाख रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 1,84,000 रुपए मिल सकते हैं। 50 लाख रुपए सैलरी पर 8% कमीशन से 4,60,000 रुपए हो सकते हैं।

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